शेयर बाजार (Stock Market) में कारोबार को जोखिम भरा माना जाता है. इसमें कोई शेयर झटके में निवेशकों को मालामाल कर देता है, तो कोई पल में उसे अर्श से फर्श पर गिरा देता है. इस समय सोलर एनर्जी सेक्टर की कंपनी जेनसोल इंजीनियरिंग का शेयर (Gensol Engineering Share) इसका ताजा उदाहरण है. ये शेयर महज आठ कारोबारी दिनों में ही 70 फीसदी तक टूट गया है, जिससे निवेशकों में तो हड़कंप मचा ही है, बल्कि अब तो इसके प्रमोटर्स भी अपने हिस्सेदारी बेचकर भागते नजर आ रहे हैं.
8 दिन और 70% की गिरावट
Gensol Engineering Share में गिरावट का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. बीते 8 करोबारी दिनों में से ज्यादातर इसमें लोअर सर्किट (Lower Circuit) लगा है. इस बीच शेयर की कीमत इस अवधि में 70 फीसदी तक घट गई है. शेयर में जारी खतरनाक गिरावट के चलते कंपनी की फाइनेंशियल हेल्थ को लेकर निवेशकों और प्रमोटर्स में चिंताएं बढ़ गई हैं. इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि कंपनी के प्रमोटरों ने अपनी 2.37 फीसदी की हिस्सेदारी बेच दी है.
निवेशकों में हड़कंप, सहमे प्रमोटर्स
बिजनेस टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, कंपनी की ओर से स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग में जानकारी देते हुए बताया गया है कि प्रमोटरों ने कंपनी के कुल इक्विटी शेयरों में से लगभग 2.37% यानी 9,00,000 शेयर बेचे हैं, जो कि कंपनी में उनकी 2.37% हिस्सेदारी है. हालांकि, फाइलिंग में इसे प्रमोटरों द्वारा लिक्विडिटी को अनलॉक किए जा सकने वाला कदम बताया है और कहा गया है कि इसे इक्विटी इन्फ्यूजन के माध्यम से व्यवसाय में फिर से निवेश किया जाएगा.
फाइलिंग में कहा गया है कि प्रमोटर्स का यह कदम कंपनी की बैलेंस शीट को मजबूत करने और स्थिरता का समर्थन करने के उद्देश्य से एक रणनीति का हिस्सा है. बता दें कि ऑफलोडिंग के बावजूद, प्रमोटर्स के पास जेनसोल इंजीनियरिंग में 59.70% हिस्सेदारी है. इस बीच, कंपनी ने 13 मार्च को होने वाली बोर्ड बैठक में स्टॉक स्प्लिट जैसे विकल्पों पर विचार करने का प्लान भी तैयार किया है.
आखिर क्यों आई इस शेयर में गिरावट?
बता दें कि फरवरी महीने के अंत में शुरू हुई तेज गिरावट अब तक जारी है. इसके पीछे की वजह पर गौर करें, तो Care Ratings और ICRA द्वारा कंपनी के रेटिंग में किए गए बदलाव के बाद शेयर में भारी गिरावट आई है. केयर रेटिंग्स ने जेनसोल इंजीनियरिंग की रेटिंग को BB+ स्टेबल से कम करते हुए डिफॉल्ट किया है.Gensol Engineering की ओर से लोन की किश्तें चुकाने में लगातार देरी के बाद बैंकों और अन्य कर्जदारों के फीडबैक के आधार पर एजेंसी ने रेटिंग में बदलाव किया है. इसके अलावा इकरा ने भी इसकी रेटिंग को स्टेबल से डाउनग्रेड किया है.
घटकर इतना रह गया मार्केट कैप
जेनसोल शेयर में जारी गिरावट के चलते बीते सप्ताह के आखिरी कारोबारी दिन तक कंपनी का मार्केट कैपिटलाइजेशन घटकर 1220 करोड़ रुपये रह गया. इस सोलर एनर्जी स्टॉक में बीते एक महीने में 55.93 फीसदी की गिरावट आ चुकी है, तो पिछले छह महीनों में इस शेयर में पैसे लगाने वाले निवेशकों को 65 फीसदी का निगेटिव रिटर्न मिला है. खास बात ये है कि महज पांच दिन में इस शेयर का भाव 210 रुपये कम हो गया है यानी ये 40 फीसदी के आस-पास टूटा है.
(नोट- शेयर बाजार में किसी भी तरह के निवेश से पहले अपने मार्केट एक्सपर्ट्स की सलाह जरूर लें.)