
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप
अर्जेंटीना की पूर्व राष्ट्रपति क्रिस्टीना फर्नांडीज पर अमेरिका ने बैन लगा दिया है. इस बेन की वजह उनके ऊपर लगे भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप हैं. यही कारण है कि अब अमेरिका ने उनकी देश में एंट्री बैन कर दी है. अमेरिकी विदेश विभाग ने फर्नांडीज के योजना मंत्री जूलियो मिगुएल डी विडो और उनके परिवारों पर भी प्रतिबंध लगा दिया है.
किर्चनर और डी विडो पर आरोप है कि उन्होंने कई सरकारी योजनाओं में भारी भ्रष्टाचार किया है, इसके साथ ही रिश्वतखोरी के आरोप भी लगे हैं. पूर्व राष्ट्रपति के इस कारनामे के कारण अर्जेंटीना सरकार से लाखों डॉलर की चोरी हुई है.
बैन लगाने के बाद क्या बोले विदेश मंत्री?
अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने शुक्रवार को जारी एक बयान में कहा कि उन्हें कई अदालतों की तरफ से भ्रष्टाचार के मामलों में दोषी ठहराया गया है. उन्होंने कहा कि कई अदालतों ने भ्रष्टाचार के आरोपों में दोनों को दोषी ठहराया है.
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पूर्व राष्ट्रपति क्रिस्टीना फर्नांडीज
रुबियो ने कहा कि अमेरिका उन लोगों के लिए जवाबदेही को बढ़ावा देना जारी रखेगा जो व्यक्तिगत लाभ के लिए सार्वजनिक शक्ति का दुरुपयोग करते हैं. ये पदनाम वैश्विक भ्रष्टाचार का मुकाबला करने की हमारी प्रतिबद्धता की पुष्टि करते हैं. उन्होंने कहा कि हम किसी भी भ्रष्टाचारी को नहीं छोड़ेंगे.
कई अदालतों से दोषी करार
पूर्व राष्ट्रपति पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप केवल आरोप नहीं हैं, बल्कि कई अदालतों की तरफ से उन्हें दोषी तो कई की तरफ से उन्हें सजा भी सुनाई गई है.
अर्जेंटीना की पूर्व राष्ट्रपति और वामपंथी नेता क्रिस्टीना फर्नांडीज डी किर्चनर को भ्रष्टाचार के मामले में छह साल जेल और सार्वजनिक पद पर आजीवन प्रतिबंध की सजा सुनाई गई थी. अर्जेंटीना की एक संघीय अदालत ने उन्हें एक हाई-प्रोफाइल भ्रष्टाचार मामले में दोषी पाया था, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने चुनौती दी गई थी. हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने भी लोअर कोर्ट का फैसला बरकरार रखा.
किर्चनर पर आरोप लगा था कि 2007 से 2015 के बीच दो बार राष्ट्रपति रहने के दौरान उनके प्रशासन की ओर से सार्वजनिक निर्माण संबंधी ठेके दिए जाने में गड़बड़ियां की थीं. मुख्य अभियोजक ने ठेके बांटने की कथित योजना को देश का सबसे बड़ा भ्रष्टाचार अभियान करार दिया था.
फर्नांडीज पर हो चुका जानलेवा हमला
फर्नांडीज डी किर्चनर साल 2022 में ब्यूनस आयर्स में अपने घर के बाहर एक जानलेवा का शिकार होते-होते बच गई थीं, एक शख्स ने उनके सिर पर बंदूक तान दी थी और ट्रिगर दबा दिया था लेकिन गोली नहीं चली थी. किर्चनर पर हुए हमले के विरोध में उनके हजारों समर्थक सड़कों पर उतर आए थे.