होली के त्यौहार को लेकर लोग काफी उत्साहित हैं। कल होली थी और आज रंगों का त्यौहार धुलेटी है। होली और धुलेटी का त्यौहार पूरे देश में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि होली का त्यौहार क्यों मनाया जाता है? होली का त्यौहार किसने शुरू किया? आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि होली का त्यौहार जिस स्थान से शुरू हुआ वह स्थान आज पाकिस्तान में है।
भले ही देश का बंटवारा हो गया हो, लेकिन सनातन धर्म के सबूत कैसे मिट सकते हैं? पाकिस्तान के मुल्तान में एक प्रह्लादपुरी मंदिर है। ऐसा माना जाता है कि होली सबसे पहले यहीं मनाई गई थी। होली के संबंध में भक्त प्रह्लाद होलिका और भगवान विष्णु के नरसिंह अवतार की कथा तो आप जानते ही होंगे। लेकिन शायद आप इस कहानी के पीछे की सच्चाई नहीं जानते होंगे कि भक्त प्रह्लाद, हिरण्यकश्यप और होलिका से जुड़ी यह घटना पाकिस्तान में घटी थी।
भक्त प्रह्लाद ने होलिका दहन वाले स्थान पर भगवान विष्णु के नरसिंह अवतार का मंदिर बनवाया था। यह मंदिर मुल्तान, पाकिस्तान में स्थित है। जिसे प्रह्लादपुरी मंदिर के नाम से जाना जाता है और लोककथाओं के अनुसार, यह वह स्थान है जहां से होली के त्योहार की शुरुआत हुई, जो पाकिस्तान के मुल्तान में स्थित है।
विभाजन से पहले प्रह्लादपुरी मंदिर में होली का त्यौहार 9 दिनों तक मनाया जाता था। लेकिन 1947 के बाद इस मंदिर की हालत खराब हो गई और 1992 में एक पागल भीड़ ने इस मंदिर को ध्वस्त कर दिया। तब से यहां कोई मरम्मत नहीं की गई है। आज इस मंदिर की हालत पूरी तरह से जीर्ण-शीर्ण हो चुकी है। रंगों का त्यौहार होली इसी मंदिर से शुरू हुआ। आज यह पवित्र स्थल जीर्ण-शीर्ण अवस्था में है, लेकिन पाकिस्तान में रहने वाले हिंदुओं ने अब इस मंदिर को लेकर आवाज उठाई है।
पाकिस्तान हिंदू अधिकार संगठन ने कहा कि होली पर 14 से 16 मार्च तक सुरक्षा मुहैया कराई जानी चाहिए। हिंदुओं के त्योहार होली को शांतिपूर्ण ढंग से मनाने की अनुमति दी जानी चाहिए। यदि संविधान में हिंदुओं को समानता का अधिकार है तो उन्हें इसका प्रयोग करने की अनुमति दी जानी चाहिए। पाकिस्तान हिंदू अधिकार संगठन ने शाहबाज सरकार से मुल्तान के प्राचीन प्रह्लादपुरी मंदिर में होली मनाने की मांग की है। संगठन का कहना है कि प्रह्लादपुरी मंदिर में होली समारोह के दौरान सुरक्षा और सुविधाएं सुनिश्चित की जानी चाहिए। अब देखना यह है कि पाकिस्तान में रह रहे हिंदुओं की यह इच्छा पूरी होगी या नहीं।